शुक्रवार, 27 अगस्त 2021

कामोत्तेजना और नपुंसकता की समस्या के लिए उपयोगी है चिलगोजा का प्रयोग


चिलगोज़ा के फायदे और उपयोग-


चिलगोजा – Pine Nuts

चिलगोजा, पिस्ता, बादाम की तरह ही एक ड्राई फ्रूट है। आयुर्वेद के अनुसार, चिलगोजा एक बहुगुणी औषधि है। चिलगोजा के सेवन से एक-दो नहीं बल्कि कई बीमारियों का इलाज किया जा सकता है। चलिए जानते हैं चिलगोजा खाने के फायदे क्या होते हैं।



चिलगोजा क्या होता है?

चिलगोजा का इस्तेमाल मेवे के रूप में होता है। यह एक पौष्टिक तथा स्वादिष्ट फल होने के साथ-साथ एक औषधि भी है। चिलगोजा के तेल का भी प्रयोग औषधि के रूप में होता है। चिलगोगा के वृक्ष लगभग 24 मीटर ऊंचे, एवं 3 मीटर चौड़े, तथा मध्यम आकार होते हैं। पेड़ की छाल पतली, चिकनी, खुरदरी, और भूरे रंग की होती है। इसके पत्ते तीन गुच्छों वाले और कठोर होते हैं।

चिलगोजा (pine nuts) के फल 2.5 सेमी लम्बे, चपटे, और भूरे रंग के होते हैं। इस फल को ही चिलगोजा कहते हैं। इसके बीज 2-2.5 सेमी लम्बे, गहरे भूरे रंग के होते हैं। फलों के अन्दर की गिरी सफेद, मीठी होती है। चिलगोजा के वृक्ष में फरवरी से दिसम्बर तक फूल, और फल होते हैं। चिलगोजा के बीज वृक्षों से नीचे गिरते हैं। इन्हीं बीजों को बाजार में बेचा जाता है।



चिलगोजा के फायदे

आयुर्वेद के अनुसार, चिलगोजा खाने के फायदे (chilgoza benefits), औषधीय प्रयोग, इस्तेमाल की मात्रा, एवं विधियां ये हैंः-


चिलगोजा के फायदे से होती है शारीरिक कमजोरी दूर

शारीरिक कमजोरी की शिकायत है तो चिलगोजा का सेवन करें। बच्चे भी चिलगोजा का प्रयोग कर सकते हैं। चिलगोजा की गिरी का सेवन करने से हाथ-पैर की कमजोरी दूर होती है, और शरीर स्वस्थ होता है।



नपुंसकता की समस्या, और कामोत्तेजना के लिए चिलगोजा का प्रयोग

वर्तमान में कई लोग नपुंसकता, और सेक्स संबंधी विकार से ग्रस्त हैं। अस्वस्थ्य जीवनशैली, अस्वस्थ्य आहार का सेवन, या शारीरिक रोग आदि कई कारण हैं, जिनके कारण लोगों को ऐसी बीमारियां होती हैं। 

 1 गिलास दूध में 5-10 ग्राम चिलगोजा गिरी का चूर्ण, तथा मिश्री मिलाकर पीने से वीर्य संबंधी रोग दूर होता है, और वीर्य स्वस्थ होता है।

· चिलगोजा (pine seeds) के सेवन से शरीर की कमजोरी दूर होती है, शरीर में उत्तेजना आती है, कामशक्ति (सेक्सुअल पॉवर) पॉवर बढ़ती है। वीर्य की बीमारी ठीक होती है।

· धातु की बीमारी में 20-25 बीज की गिरी को दूध के साथ सेवन करने से लाभ होता है।

· जो लोग सेक्सु्ल पॉवर या यौन शक्ति की कमी से परेशान रहते हैं, वे चिलगोजा, बादाम, मुनक्का, छुहारा, तथा अंजीर को मिलाकर दूध में पकाएं। दूध को ठंडाकर लें, और इसमें मिश्री मिलाकर सेवन करें। इससे उनका शरीर स्वस्थ्य होगा, और कामशक्ति में बढ़ोतरी होती है।


पाचनतंत्र विकार में चिलगोजा के सेवन से लाभ


आप जो खाना खाते हैं, उसे पाचनतंत्र पचाने का काम करता है। जब पाचनतंत्र स्वस्थ रहता है, तो भोजन को सही से पचाता है। इसी तरह पाचनतंत्र के बीमार हो जाने पर स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ने की संभावना बन जाती है। चिलगोजा खाने के फायदे इसमें भी होता है। पाचन क्रिया खराब होने पर चिलगोजा का सेवन करना चाहिए। इससे पाचनतंत्र स्वस्थ रहता है, और सही तरह से काम करता है।



चिलगोजा के फायदे से खांसी और दमा का इलाज

दुनिया भर में दमा रोग से हजारों ग्रस्त हैं। यह एक गंभीर रोग है। चिलगोजा की 5-10 ग्राम गिरी को पीस लें। इसमें शहद मिलाकर सेवन करने से दमा में फायदा होता है। इसे पीने से खांसी में भी आराम मिलता है।

चिलगोजा के फायदे से गठिया में लाभ

चिलगोजा (pine seeds) के तेल को लगाने से गठिया का दर्द ठीक होता है।



चिलगोजा के फायदे बुखार उतारने में

बुखार से पीड़ित मरीज चिलगोजा का सेवन कर स्वास्थ्य लाभ ले सकते हैं। बुखार होने की स्थिति में 18-18 ग्राम त्रिफला, त्रिकटु, दालचीनी, चित्रक, ककुभ मूल, सालिम लें। इनके साथ ही बाबूना का फूल, 100 ग्राम अंगूर, 4 ग्राम चिलगोजा मज्जा, तथा 6 ग्राम नारियल लें। इनका पेस्ट बनाकर पका लें। इसे गाढ़ा बना लें। इसमें 375 ग्राम मधु मिला लें, और जेली (चटनी) बना लें। इस जेली (चटनी) को 5-10 ग्राम सुबह और शाम सेवन करें। इससे बुखार में लाभ होता है। 



चिलगोजा का इस्तेमाल कैसे करें? 

चिलगोजा का सेवन इस तरह किया जा सकता हैः-

· चिलगोजा का चूर्ण- 2-5 ग्राम

आप चिलगोजा का इस्तेमाल कर भरपूर फायदा लेना चाहते हैं, तो इसके इस्तेमाल से पहले किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक के सलाह जरूर लें।
 

चिलगोजा के साइड इफेक्ट 

जिस तरह अच्छी चीजों को खाने से शरीर में लाभ होता है, और सामान्य से अधिक मात्रा में सेवन करने से नुकसान हो सकता है। उसी तरह चिलगोजा के अत्यधिक सेवन से भी कुछ हानि हो सकती है, जो ये हैः-

· चिलगोजा की गिरी देर से पचती है।

· इसका सेवन अत्यधिक मात्रा में करने से पेट संबंधित परेशानियां हो सकती हैं।

आप उपरोक्त रोगों की रोकथाम में चिलगोजा का पूरा इस्तेमाल कर सकते हैं, लेकिन बेहतर परिणाम के लिए डॉक्टर की सलाह से चिलगोजा का इस्तेमाल करना चाहिए।

चिलगोजा कहां पाया या उगाया जाता है? (Where is Chilgoza Found or Grown?)

चिलगोजा की खेती कई स्थानों पर की जाती है। भारत में उत्तर-पश्चिम में चिलगोजा की खेती होती है। हिमालय में 1800-3000 मीटर की ऊंचाई पर देवदार व चीड़ के वृक्षों के साथ-साथ चिलगोजा भी पाया जाता है। यह विश्व में अफगानिस्तान, बलूचिस्तान एवं पाकिस्तान में भी पाया जाता है।










मंगलवार, 3 अगस्त 2021

पुरुषों की अनेक सेक्स समस्या में उपयोगी है सहजन (मोरिंगा या ड्रमस्टिक)- डॉ0 बी0 के0 कश्यप



पुरुषों की अनेक सेक्स समस्या में  उपयोगी है सहजन (मोरिंगा या ड्रमस्टिक)- डॉ0 बी0 के0 कश्यप



सहजन (Drumstick) Benefits:  सहजन के फायदे अनेक हैं। सहजन पुरुषों की कई यौन समस्‍याओं में फायदेमंद होता है। 

पुरुषों में कई ऐसी समस्‍याएं होती है, जिसके बारे में पुरुष बात करने से भी हिचकते हैं। यह समस्‍याएं आगे चलकर किसी बीमारी का रूप ले लेती हैं, जिसका इलाज बहुत ही कठिन हो जाता है। हालांकि, अगर पुरुष अपनी समस्‍याओं को लेकर सजग रहें तो यह आसानी से ठीक हो सकती हैं। 
ऐसे में डाइट और लाइफस्टाइल में थोड़ा बदलाव पुरुषों की इन बीमारियों को ठीक कर सकता है। डाइट की बात करें तो, पुरुषों के लिए सहजन का सेवन बहुत फायदेमंद है। दरअसल, सहजन कई औषधीय गुणों से भरा होता है। सहजन, पुरुषों में कई अंदरूनी रोग को होने से पहले ही रोक देते हैं। इसके अलावा भी पुरुषों के लिए सहजन बहुत लाभकारी है । 

सहजन क्‍या है-


सहजन, मोरिंगा (Moringa) और ड्रमस्टिक (Drumstick Tree), ये सभी नाम एक ही वृक्ष के हैं। सहजन का वानस्‍पतिक नाम Moringa oleifera है। सहजन में कई औषधीय गुण पाए जाते हैं। इसके अलावा इसमें कई पोषक तत्‍व जैसे- कैल्शियम, पोटेशियम, कॉपर, मैग्नीशियम, आयरन और जिंक जैसे खनिज पाए जाते हैं। जबकि विटामिन ए, के, बीटा-कैरोटीन, विटामिन बी, विटामिन सी, डी और ई जैसे विटामिन भी मौजूद हैं। 


पुरुषों के लिए सहजन के फायदे - 


1. प्रोस्‍टेट हेल्‍थ को बेहतर करता है-


सहजन के बीज (Moringa Seeds) और पत्तियों में सल्‍फर युक्‍त यौगिक पाए जाते हैं, जिन्हें ग्लूकोसाइनोलेट्स कहा जाता है, जिसमें एंटीकैंसर गुण हो सकते हैं। अध्ययनों से पता चला है कि सहजन के बीजों में मौजूद ग्लूकोसाइनोलेट्स पुरुषों के प्रोस्टेट कैंसर कोशिकाओं की वृद्धि को रोकता है। साथ ही यह भी अनुमान लगाया गया है कि मोरिंगा सॉफ्ट प्रोस्टेट हाइपरप्लासिया को रोकने में मदद कर सकता है। यह स्थिति आम तौर पर पुरुषों में उम्र के अनुसार बढ़ती है जो पेशाब करना मुश्किल बना देती है। यह प्रोस्‍टेट के वजन को कम करता है।

2. इरेक्‍टाइल डिसफंक्‍शन को कम कर सकता है-


वैज्ञानिको ने सहजन को इरेक्‍टाइल डिसफंक्‍शन की समस्‍या को कम करने के तौर पर देखा है। पुरुषों में स्‍तंभन दोष एक गंभीर समस्‍या है, जिसके बारे चर्चा नहीं होती है। जबकि इसका उपचार संभव है। दरअसल, एक अध्‍ययन में मोरिंगा के बीज और पत्ती के अर्क को स्वस्थ चूहों में शिश्न के रक्त प्रवाह में सुधार और डायबिटीज वाले लोगों में इरेक्‍टाइल डिसफंक्‍शन को कम करने के लिए दिखाया गया है। मानव अध्ययन की अनुपस्थिति में, यह अभी ज्ञात नही है कि क्या सहजन पुरुषों में इरेक्‍टाइल डिसफंक्‍शन का प्रबंधन करने में मदद कर सकता है।

3. पुरुषों में प्रजनन क्षमता को बढ़ाता है-


प्रजनन क्षमता की कमी नपुंसकता को दर्शाता है। जो लोग पिता नहीं बन पाते हैं उनके प्रति समाज का नजरिया बदल जाता है। प्रजनन क्षमता को इंप्रूव करने के लिए सहजन फायदेमंद हो सकता है। मोरिंगा की पत्तियां और बीज एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर होते हैं। इस बात का सफल अध्‍ययन चूहों और खरगोश पर पर किया जा चुका है। हालांकि, इन निष्कर्षों की पुष्टि करने के लिए मनुष्यों पर अध्ययन आवश्यक है।

4. ब्‍लड शुगर को कंट्रोल करता है-


टाइप 2 डायबिटीज एक ऐसी स्थिति है जो तब होती है जब आपका शरीर पर्याप्त इंसुलिन का उत्पादन नहीं करता है या अच्‍छे से इसका उपयोग नहीं कर पाता है। इंसुलिन आपके अग्न्याशय द्वारा निर्मित एक हार्मोन है जो खाने के बाद रक्त शर्करा के स्तर को कम करता है। लेकिन, जब इंसुलिन का उत्‍पादन नहीं होता तो रक्‍त शर्करा में वृद्धि होने लगती है। पुरुषों डायबिटीज होने का प्रतिशत अधिक है। डायबिटीज में सहजन फायदेमंद हो सकता है। सहजन की पत्तियों का चूर्ण टाइप 2 डायबिटीज वाले लोगों में भोजन के बाद होने वाले रक्‍त शर्करा के स्‍तर में वृद्धि को कम कर सकता है। हालांकि, इसमें और अधिक शोध की आवश्‍यकता है।

सहजन अपने औषधीय गुणों के कारण कई रोगों में फायदेमंद है। आप सहजन की पत्तियां, फल और बीज को सब्‍जी या अन्‍य किसी रूप में खा सकते हैं। यह पुरुषों को उनकी समस्‍याओं को दूर करने में मदद करेगी। मगर मार्केट में मिलने वाले सहजन के पाउडर और टैबलेट आदि को बिना चिकित्‍सक की सलाह पर न खाएं। यह आपको नुकसान पहुंचा सकता है।

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